विश्व बैंक भूमि सम्मेलन 2025 का समापन

दिल्ली/जालंधर (ब्यूरो) :- विश्व बैंक भूमि सम्मेलन 2025 में भारत ने अपनी दमदार और प्रभावशाली उपस्थिति दर्ज कराई है। वाशिंगटन डी.सी. में 5 से 8 मई 2025 तक चले चार दिवसीय सम्मेलन में भारत ने पंचायती राज मंत्रालय के सचिव विवेक भारद्वाज के नेतृत्व में एक चैंपियन की भूमिका निभाई। सम्मेलन के दौरान समावेशी, प्रौद्योगिकी-संचालित ग्रामीण शासन के मॉडल के रूप में स्वामित्व योजना और ग्राम मानचित्र जैसी भारत की प्रमुख पहलों की ओर वैश्विक ध्यान आकर्षित किया गया।
जबकि “भूमि पट्टे और शासन सुधार में अच्छे अभ्यास और चुनौतियां” वाले सत्र में रेखांकित किया गया कि कैसे स्वामित्व के माध्यम से सुरक्षित भूमि स्वामित्व आजीविका में सुधार कर रहा है, महिलाओं को सशक्त बना रहा है और ग्रामीण भारत में ऋण तक पहुंच को सुनिश्चित कर रहा है। इस सत्र में देशभर के किसानों, महिलाओं और छोटे उद्यमियों की जीवन की सफलता की कहानियों ने भारत में संपत्ति के अधिकारों और औपचारिक भूमि अभिलेखों के जमीनी स्तर पर प्रभाव को प्रदर्शित किया। सत्र में 68,000 वर्ग किमी सर्वेक्षण और 1.16 ट्रिलियन रुपये की भूमि के मुद्रीकरण के साथ, स्वामित्व वैश्विक स्तर पर समावेशी आर्थिक परिवर्तन के लिए एक स्केलेबल मॉडल के रूप में सामने आया। यहां पंचायती राज मंत्रालय ने “एक अरब लोगों के लिए भूमि अधिकारों को सुरक्षित करना” शीर्षक से एक विशेष सत्र का नेतृत्व किया, जिसमें विश्व बैंक के कई विभागों और कई देशों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। उन्होंने ड्रोन सर्वेक्षण और कानूनी ढांचे से लेकर संपत्ति कार्ड जारी करने और संस्थागत अभिसरण तक स्वामित्व योजना के अंत-से-अंत कार्यान्वयन और प्रभाव पर प्रकाश डाला।
सम्‍मेलन के तकनीकी सत्र में 8 मई को आयोजित “जलवायु कार्रवाई और आपदा जोखिम प्रबंधन के लिए भूमि फाउंडेशन की स्थापना” विषय पर एमओपीआर के संयुक्‍त सचिव आलोक प्रेम नागर ने ग्राम मानचित्र का प्रदर्शन किया, जो एक भू-स्थानिक नियोजन मंच है जो ग्राम पंचायतों को डेटा-संचालित, स्थानीयकृत विकास योजनाएँ तैयार करने में सक्षम बनाता है। जलवायु लचीलापन, बुनियादी ढाँचा नियोजन और योजनाओं के अभिसरण को बढ़ावा देने में उपकरण की भूमिका का प्रदर्शन किया गया और वैश्विक दक्षिण संदर्भ में इसकी प्रासंगिकता की सराहना की गई। अपनी प्रस्तुति में नागर ने क्षमता निर्माण, वित्तीय प्रोत्साहन और सामुदायिक सहभागिता के महत्व पर भी जोर दिया, जिससे ग्राम मानचित्र को आपदा तैयारी और समावेशी विकास के लिए एक दूरदर्शी समाधान के रूप में स्थापित किया गया।

Check Also

10 ਮਈ ਨੂੰ ਲੱਗਣ ਵਾਲੀ ਰਾਸ਼ਟਰੀ ਲੋਕ ਅਦਾਲਤ ਮੁਲਤਵੀ

ਜਲੰਧਰ, 9 ਮਈ (JJS): ਜਿਲ੍ਹਾ ਅਤੇ ਸੈਸ਼ਨਜ਼ ਜੱਜ ਜਲੰਧਰ ਸ੍ਰੀ ਨਿਰਭਉ ਸਿੰਘ ਗਿੱਲ ਨੇ ਦੱਸਿਆ …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *